नई दिल्ली : स्वदेशी मार्शल आर्ट की उत्पत्ति मणिपुर से हुई, 17 से 19 मई 2024 तक, जिसे सरित सरक फेडरेशन ऑफ इंडिया और सरित सरक एसोसिएशन, के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ओर कार्यक्रम के संयोजक सोहन गिरी द्वारा आयोजित किया गया, कार्यक्रम का उद्घाटन समाज सुधारक और आचार्य लोकेश मुनि जी ने किया जो अहिंसा विश्व भारती के संस्थापक हैं , विश्व में शांति का संदेश फैलाते है ।
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भक्तकुमार, सरित साराक फेडरेशन ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं , कार्यक्रम का आयोजन अखिल भारत हिंदू महासभा, गोले मार्केट के पास, नई दिल्ली में 17 से 19 मई को हुआ। इसमें देश भर के 15 विभिन्न संबद्ध राज्य संघों के 56 अधिकारियों के साथ 212 लड़कों और 228 लड़कियों ने भाग लिया।
मणिपुर के खिलाड़ियों द्वारा सरित सारक की अद्भुत लड़ाई का प्रदर्शन किया गया जिसने दर्शकों को रोमांचित कर दिया।
सोहन गिरी जी ने अपने वक्तव्य में कहा भारत में 70 सालों से विदेशी मार्शल आर्ट्स सिखा ओर सिखाया जा रहा है।
स्वदेशी मार्शल आर्ट्स को भारत में सिखा सिखाया जाए उसी की पहल मणिपुर से इस कार्यक्रम के माध्यम से हो चुकी है। सोहन जी ने कार्यक्रम स्थल से एक नारा भी दिया स्वदेशी पहनो, स्वदेशी खाओ, स्वदेशी खेलो ओर स्वदेशी उत्पादों का इस्तेमाल करो। देश को विश्व गुरु बनाने के लिए आर्थिक विकास के लिए स्वदेशी ही एकमात्र ऐसा मार्ग है जो देश के साहसिक फैसले लेने वाले जननायक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार करने का सामर्थ्य रखता है।
भक्तकुमार जी ने कहा मणिपुर के स्वदेशी मार्शल आर्ट्स को जिस तरह अन्य प्रदेशों की टीमों ने अपनाया ओर भारी संख्या में प्रथम स्वदेशी राष्ट्रीय सरित सरक चैंपियनशिप 2024 में भाग लिए निश्चित ही जल्द हम सरकार के माध्यम से इस खेल को खेलो इंडिया में भी शामिल करवा पाएंगे।