रिक्शा चालक से गैंगस्टर बने हैदर का अंत पुलिस के एक गोली से, पढ़िये गैंगस्टर की दिलचस्प काहानी

डेस्क : केंद्रपाड़ा के छोटे से शहर में एक रिक्शा चालक से एक बड़ा गैंगस्टर बनने वाले हैदर का एक बहुत ही दिलचस्प आपराधिक इतिहास है। आपराधिक दुनिया में प्रवेश करने से पहले, हैदर रिक्शा, ट्रेकर्स और ट्रक चलाकर जीवन यापन करता था। 70-80 के दशक में जब केंद्रपाड़ा मेडिकल में पोस्टमार्टम नहीं होता था, हैदर एक शव वाहक के रूप में वहां काम कर रहा था और पैसे कमा रहा था। केंद्रपाड़ा से कटक तक 60 किलोमीटर लंबी दूरी को ट्रॉली में शव को लेकर कटक आता था ।
80 के दशक में वह कुख्यात अपराधी टीटो के संपर्क में आकर उसके साथी के रूप में आपराधिक दुनिया में शामिल हो गया था। बाद में, टीटो, सुलेमान और हैदर ने संयुक्त रूप से आपराधिक साम्राज्य पर शासन किया। कुछ सालों बाद टीटो और हैदर के बीच दरार पड़ गयी। हैदर 2005 में जोरदार चर्चा में आया था, जब गैंगस्टर सुलेमान के भाई चुना की हत्या कर दी गई थी। उसे इस जुल्म में उसी साल नागपुर से गिरफ्तार किया गया था। कोर्ट ने उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी।
हालाँकि, जेल में रहते हुए, हैदर हर तरह के अपराध करने में कामयाब रहा। भुवनेश्वर की झारपाड़ा जेल में रहते हुए हैदर ने अपने गिरोह के जरिये 2007 में केओनझर के एक खनिज मालिक रश्मी रंजन महापात्र का अपहरण कर लिया और पैसे की मांग की। बाद में रश्मीरंजन की हत्या कर दी गई और हैदर को फिर से आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई। 2017 में उसे धल सामंत गैंग के साथ गैंगवार होनेके संदेह में भुवनेश्वर से संबलपुर सर्कल जेल में ट्रांसफर कर दिया गया था। हैदर पर गंभीर आपराधिक मामलें, हत्या के प्रयास, अपहरण, जबरन वसूली और टेंडर फिक्सिंग का आरोप लगे हुए है। उसके खिलाफ केंद्रपाड़ा, जाजपुर, कटक, पुरी और भुवनेश्वर में 20 से अधिक मामले दर्ज हैं।
इसी साल 2021 में संबलपुर जेल से इलाज कराने हैदर को कटक बड़े मेडिकल लाया गया था । 10 अप्रैल 2021 को हैदर अपनी सुरक्षा में तैनात पुलिस अधिकारियों को चकमा देकर भागने में सफल रहा। हालांकि, चार दिन की नॉन-स्टॉप तलाशी के बाद, कमिश्नरेट पुलिस टीम हैदराबाद से उसे पकड़ने में कामयाब रही। हैदर तब से कटक चौद्वार जेल में बंद था। बाद में पता चला था हैदर के भागने के पीछे उसकी गर्ल फ्रेंड का हाथ था। इस मामले मे हैदर की गर्लफ्रैंड समेत और अन्य सहयोगियों को पोलिस ने गिरफ्तार कर रखा है।
24 जुलाई कुख्यात गैंगस्टर हैदर एक पुलिस मुठभेड़ में मारा गया। हैदर को पुलिस ने उस समय मार गिराया जब वह मौके से भागने की कोशिश कर रहा था। चौद्वार जेल में कड़ी सुरक्षा में बंद हैदर को कल बारीपदा जेल में स्थानांतरित करने ले जाया जारहा था। हैदर को लेकर जाते वक्त हैदर ने पेशाब करने के बहाने बालेश्वर के सिमुलिया में वेन रोकने का अनुरोध किया । बाहर निकल वह एक गार्ड की बंदूक छीन भागने की कोशिश कर रहा था। वहां तैनात अन्य पुलिस वालों ने उसे चेतावनी दी पर हैदर नहीं माना, तो मजबूर होकर पुलिस ने उसे गोली मार दी । गोली उसके पेट में लगी। उसे बालेस्वर के मुख्य अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। रिक्शा चालक से गैंगस्टर बने हैदर का अंत पुलिस के एक गोली से होगया।
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